कुछ तत्व नहीं चाहते कि भारत विकास करे, बोले RSS प्रमुख मोहन भागवत

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) प्रमुख मोहन भागवत का सोमवार को बड़ा बयान सामने आया. उन्होंने कहा कि कुछ तत्व जो नहीं चाहते हैं कि भारत विकास करे. देश के विकास की राह में बाधा उत्पन्न कर रहे हैं, लेकिन इससे डरने की कोई जरूरत नहीं क्योंकि छत्रपति शिवाजी महाराज के समय में भी ऐसी ही स्थिति थी. उस समय धर्म की शक्ति का उपयोग करके इससे निपटा गया था.
पीटीआई की रिपोर्ट के मुताबिक, पुणे में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए संघ प्रमुख ने कहा कि हमारा देश बहुत भाग्यशाली है. जब भी ऐसा समय आता है कि यह देश नष्ट हो जाएगा, उसी समय इस संकट से निपटने का उपाय भी सामने आ जाता है. प्राचीन काल से लेकर आज तक महापुरुष आगे आते रहे हैं, जिनके कारण यह देश अमर हो गया है और हमें ऐसा करने की प्रेरणा देने के लिए हजारों लोग आगे आए हैं.
‘अतीत में बाहरी आक्रमण दिखाई देते थे, लेकिन…’
उन्होंने कहा कि अतीत में भारत पर बाहरी आक्रमण काफी हद तक दिखाई देते थे. इसलिए लोग सतर्क रहते थे, लेकिन अब वो अलग-अलग रूपों में सामने आ रहे हैं. रामायण का जिक्र करते हुए कहा कि जब ताड़का ने आक्रमण किया तो बहुत अराजकता फैल गई थी, लेकिन वह केवल एक बाण से मारी गई. आज की स्थिति भी वैसी ही है. हमले हो रहे हैं और वे हर तरह से विनाशकारी हैं. फिर चाहे वह आर्थिक हो, आध्यात्मिक हो या राजनीतिक हो.
बाधा पैदा करने के लिए सारी शक्तियों का कर रहे इस्तेमाल
संघ प्रमुख ने आगे कहा कि जिन लोगों को डर है कि अगर देश का व्यापक पैमाने पर विकास होता है तो उनके कारोबार बंद हो जाएंगे, ऐसे लोग देश के विकास में बाधा पैदा करने के लिए अपनी सारी शक्तियों का इस्तेमाल कर रहे हैं. वे पूरी प्लानिंग से हमले कर रहे हैं, फिर चाहे वो भौतिक हों या सूक्ष्म. ऐसे लोगों से डरने की कोई जरूरत नहीं है.
हमारे राष्ट्र का आधार धर्म पर आधारित है: भागवत
भागवत ने कहा कि भारत को परिभाषित करने वाली एक चीज है जीवनी शक्ति. ये हमारे राष्ट्र का आधार है और यह धर्म पर आधारित है जो हमेशा रहेगा. जहां तक धर्म की बात है तो दुनिया के आरंभ में भी यह था और अंत तक इसकी जरूरत रहेगी.
संघ प्रमुख डॉ. मिलिंद पराडकर की लिखित एक पुस्तक के विमोचन अवसर पर बोलते समय यह बातें कही.

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