कौन हैं सुप्रीम कोर्ट में चीफ जस्टिस से भिड़ने वाले वकील मैथ्यूज नेदुम्परा? विवादों से है पुराना नाता

NEET-UG मामले में सुनवाई के दौरान CJI डीवाई चंद्रचूड़ और याचिकाकर्ता के वकील मैथ्यूज नेदुम्परा के बीच बहस हो गई. बात इतनी आगे बढ़ गई कि CJI ने नेदुम्परा को बाहर निकालने के लिए सिक्योरिटी तक बुलाने की बात कह दी. वकील मैथ्यूज नेदुम्परा को इससे पहले भी CJI ने फटकार लगाई थी. उन्हें कंटेम्ट ऑफ कोर्ट का भी दोषी ठहराया जा चुका है.
दरअसल मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट में NEET-UG पेपर लीक को मामले में सुनवाई चल रही थी. कोर्ट इस मामले में कई याचिकाओं पर एक साथ सुनवाई कर रहा था, ऐसे में एक याचिकाकर्ता के वकील नरेंद्र हुड्डा CJI की बेंच के सामने अपना पक्ष रख रहे थे कि इसी बीच वकील नेदुम्परा ने कहा कि ‘मुझे कुछ कहना है.’ CJI चंद्रचूड़ ने उन्हें वकील हुड्डा की बात पूरी होने के बाद पक्ष रखने को कहा लेकिन वो नहीं माने और उन्होंने कहा कि ‘मैं यहां सबसे सीनियर हूं.’
बस फिर क्या था, इसके बाद तो बात काफी आगे बढ़ गई. वकील नेदुम्परा के व्यवहार से CJI काफी नाराज़ दिखे और उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि, ‘मैं पिछले 24 साल से न्याय व्यवस्था देख रहा हूं। कोर्ट में वकील इस तरह पेश नहीं आते.’ हालांकि वकील नेदुम्परा इतने में भी नहीं रुके और उन्होंने तपाक से CJI को जवाब दे डाला कि, ‘मैं यह सब 1979 से देख रहा हूं.’
जब CJI ने कहा था- मुझ पर चिल्लाइए मत
CJI चंद्रचूड़ के साथ वकील मैथ्यूज नेदुम्परा की बहस का यह कोई पहला मामला नहीं है, बल्कि अब से कुछ ही महीने पहले इलेक्टोरल बॉन्ड के मुद्दे पर सुनवाई के दौरान भी वे CJI से उलझ गए थे. चीफ जस्टिस ने चुनावी बॉन्ड पर सुनवाई के दौरान नेदुम्परा से कहा कि आप मुझपर चिल्लाइए मत. अगर आपको याचिका दाखिल करनी है तो आवेदन दीजिए, हम यहां आपकी सुनवाई के लिए नहीं बैठे हैं. दरअसल नेदुम्परा सुनवाई के दौरान लगातार बोलते रहे. उन्होंने कहा कि पूरा फैसला नागरिकों के पीठ पीछे दिया गया है.
चीफ जस्टिस ने वकील नेदुम्परा को डांट लगाते हुए कहा था कि कोर्ट सार्वजनिक भाषण का मंच नहीं है, उन्होंने नेदुम्परा को बहस में उलझने की बजाय तय प्रक्रिया के जरिए आवेदन लगाने को कहा. CJI ने कहा कि, “यह हाइड पार्क कॉर्नर मीटिंग नहीं है, आप कोर्ट में हैं. आप आवेदन दाखिल करना चाहते हैं तो करें. उन्होंने कहा कि आपको मुख्य न्यायाधीश के तौर पर मेरा फैसला मिल गया है, हम आपकी सुनवाई नहीं कर रहे हैं.
कौन हैं वकील मैथ्यूज नेदुम्परा
वकील मैथ्यूज जे नेदुम्परा एक वरिष्ठ वकील हैं. उन्हें सिविल, आपराधिक, संवैधानिक, बैंकिंग और वित्त सहित कानून के क्षेत्र में व्यापक अनुभव है. उन्हें सार्वजनिक मुद्दों के प्रति अपनी प्रतिबद्धता के लिए जाना जाता है, विशेष तौर पर न्यायपालिका में पारदर्शिता और जवाबदेही को बढ़ावा देने में. 2010 में उन्होंने न्यायिक पारदर्शिता और सुधार के लिए राष्ट्रीय वकीलों के अभियान की स्थापना की थी.
विवादों से है पुराना नाता
2019 में सुप्रीम कोर्ट ने वकील मैथ्यूज जे नेदुम्परा को एक वरिष्ठ वकील का नाम लेकर यह आरोप लगाने के लिए अवमानना ​​का दोषी ठहराया कि न्यायाधीशों के बेटे और बेटियों को ‘वरिष्ठ अधिवक्ता’ का पद देने में प्राथमिकता दी जाती है. जस्टिस आर. नरीमन और जस्टिस विनीत सारन की बेंच ने उन्हें अवमानना ​​का दोषी पाया और 3 महीने जेल की सजा सुनाई, हालांकि बाद में उनके बिना शर्त माफी मांगने पर उनकी सजा निलंबित कर दी गई. लेकिन कोर्ट ने वकील नेदुम्परा को एक साल के लिए सुप्रीम कोर्ट में वकालत करने से रोक दिया गया था. वकील नेदुम्परा न्यायपालिका में नियुक्तियों की कॉलेजियम सिस्टम की आलोचना करने के लिए भी जाने जाते हैं.

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