चुनावी बजट पर मुखर विपक्ष, आखिर क्यों हो रही राजनीति?

चुनावी साल में 2024 के केंद्रीय बजट का विरोध शुरू हो गया है. बजट में बिहार और आंध्र को तरजीह मिलने पर जहां एक तरफ विपक्ष के 6 मुख्यमंत्रियों ने मोर्चा खोल दिया है तो वहीं 6 में से 4 मुख्यमंत्रियों ने नीति आयोग की मीटिंग में जाने से इनकार कर दिया है. वहीं दूसरी तरफ बिहार और आंध्र को तवज्जो मिलने पर बीजेपी शासित राज्यों के मुख्यमंत्री भी घिर गए हैं. राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा को तो अपना पोस्ट तक हटाना पड़ गया. शर्मा ने निर्मला सीतारमण की तारीफ करते हुए सोशल मीडिया पर एक पोस्ट किया था.
मंगलवार को संसद में पेश केंद्र की बजट में बिहार को 59 हजार करोड़ रुपए और आंध्र प्रदेश को 15 हजार करोड़ रुपए की सौगात मिली. दोनों ही राज्यों में एनडीए के घटक दल की सरकार है.
6 राज्यों के मुख्यमंत्री ने खुलकर किया विरोध
तमिलनाडु, कर्नाटक, तेलंगाना, हिमाचल, पश्चिम बंगाल और झारखंड के मुख्यमंत्री ने बजट का खुलकर विरोध किया है. इन मुख्यमंत्रियों का कहना है कि 2024 का केंद्रीय बजट सिर्फ 2 राज्यों के लिए ही बनाया गया है. मुख्यमंत्रियों में सबसे पहली प्रतिक्रिया झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन की आई. सोरेन ने कहा कि राज्य से जो पैसा केंद्र ले रही है, उसे भी नहीं दे रही है.
इसके बाद तमिलनाडु के सीएम एमके स्टालिन सामने आए. स्टालिन ने कहा कि बजट सिर्फ 2 राज्यों के लिए बनाया गया है. हमने आपदा से निपटने के लिए 36 हजार करोड़ रुपए की मांग की, लेकिन सरकार ने सिर्फ 236 करोड़ रुपए दिया है. तमिलनाडु पिछले 3 साल से मेट्रो बजट की मांग कर रहा है, लेकिन केंद्र इस पर कुछ नहीं बोल रही है.
कर्नाटक के सीएम सिद्धारमैया, तेलंगाना के सीएम रेवंथ रेड्डी और हिमाचल के सीएम सुखविंदर सुक्खू ने भी बजट का विरोध किया. तीनों ही मुख्यमंत्रियों का कहना था कि उनके राज्यों के लिए बजट में कुछ भी विशेष नहीं है. एमके स्टालिन के साथ-साथ इन तीनों ही मुख्यमंत्रियों ने नीति आयोग की बैठक का बहिष्कार किया है.
यह बैठक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में इसी हफ्ते के अंत में प्रस्तावित है. बजट का विरोध पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने भी किया है. ममता ने कहा कि बजट से हमको अलग रखा गया है. इसका जवाब बंगाल की जनता आने वाले वक्त में बीजेपी को देगी. ममता ने कहा कि प्रधानमंत्री बंगाल से जलते हैं.
भजनलाल शर्मा ने हटाया सोशल मीडिया पोस्ट
केंद्रीय बजट पर वित्त मंत्री की तारीफ से जुड़ा एक पोस्ट देर रात कर राजस्थान मुख्यमंत्री के सोशल मीडिया से गायब दिखा. दरअसल, भजनलाल शर्मा ने बजट में बिहार को मिले बंपर योजनाओं को लेकर वित्त मंत्री की तारीफ की थी, लेकिन लोगों ने इस पोस्ट पर उनकी खिंचाई कर दी.
प्रदेश अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने इस पोस्ट को शेयर करते हुए लिखा- बिहार की छोड़िए, यह बताइए कि डबल इंजन की सरकार में राजस्थान को क्या मिला?
डोटासरा ने आगे लिखा- बस दिल्ली से पर्ची आई तो आपने ट्वीट कर दिया और जब जनता ने सवाल पूछा तो आपने पोस्ट डिलीट कर दिया? भजनलाल शर्मा ने यह पोस्ट मंगलवार को दोपहर 1 बजकर 38 मिनट में किया था.
राजनीति तेज, वजह- लोकल पॉलिटिक्स और चुनाव
झारखंड में इस साल के अंत में विधानसभा के चुनाव होने हैं. वहां पर मुख्य मुकाबला भारतीय जनता पार्टी और जेएमएम-कांग्रेस गठबंधन के बीच है. हेमंत सोरेन बजट के जरिए बीजेपी को बैकफुट पर धकेलना चाहती है. झारखंड में विधानसभा की 81 सीटें हैं और यहां पर सरकार बनाने के लिए किसी भी पार्टी या गठबंधन को 42 सीटों की जरूरत पड़ती है.
कर्नाटक के मुख्यमंत्री ने बजट न मिलने पर कन्नाडिगा शब्द का इस्तेमाल किया है. सिद्धारमैया ने कहा कि कन्नाडिगा को इग्नोर करना केंद्र की सरकार को भारी पड़ेगा. कर्नाटक में बीजेपी मुख्य विपक्षी पार्टी है. यहां पर 2028 में विधानसभा के चुनाव होंगे.
इसी तरह बंगाल के मुख्यमंत्री ने बंगाली अस्मिता का दांव खेला है. यहां भी पिछले कुछ सालों से बीजेपी का तेजी से उभार हुआ है. हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस की सरकार है और यहां पर बीजेपी मुख्य विपक्षी पार्टी है. बंगाल में 2026 में विधानसभा के चुनाव होने हैं.
तेलंगाना और तमिलनाडु में बीजेपी मुख्य विपक्षी पार्टी तो नहीं है, लेकिन यहां भी उसका तेजी से विस्तार हो रहा है. तेलंगाना में 2028 और तमिलनाडु में 2026 में विधानसभा के चुनाव होंगे.

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