तमिलनाडु में राहुल गांधी के खिलाफ 30 थानों में शिकायत, देश विरोधी धाराओं में केस दर्ज करने की मांग

तमिलनाडु के चेन्नई में एक बीजेपी नेता ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी के खिलाफ अलग-अलग जिलों के 30 थानों में शिकायत दर्ज कराई है. बीजेपी नेता डॉ वेंकटेश मौर्य की ओर से यह शिकायत राहुल के अमेरिकी दौरे के दौरान आरक्षण को लेकर दिए गए बयान के खिलाफ दर्ज कराया है. जिसमें उन्होंने कथित तौर पर कहा था कि अगर बीजेपी सत्ता में आई तो वो एससी-एसटी और ओबीसी आरक्षण को खत्म कर देगी.
एएनआई की रिपोर्ट के मुताबिक, बीजेपी नेता वेंकटेश मौर्य ने कहा कि एक नेता प्रतिपक्ष और सांसद होने के नाते राहुल गांधी को देश से बाहर इस तरह की बात नहीं करनी चाहिए. वह देश के अंदर कुछ भी बोल सकते हैं. विदेश में उन्होंने भारत की सरकार, एससी-एसटी और ओबीसी के संबंध में दुष्प्रचार किया है.
देश विरोधी धाराओं में केस दर्ज करने की मांग
उन्होंने आगे कहा कि हमने पुलिस में राहुल गांधी के खिलाफ शिकायत देते हुए उनके खिलाफ देश विरोधी धाराओं के तहत केस दर्ज करने की मांग की है. जरूरत पड़ने पर उन्हें गिरफ्तार भी किया जाना चाहिए. हम स्पीकर से भी मांग करते हैं कि उनकी संसद सदस्यता रद्द की जानी चाहिए. हम 30 सितंबर को चेन्नई में उनके खिलाफ प्रदर्शन भी करेंगे. उनको अपने बयानों को लेकर माफी मांगनी चाहिए.
राहुल ने आरक्षण के साथ-साथ कई मुद्दों पर की थी टिप्पणी
अमेरिका दौरे पर अलग-अलग कार्यक्रमों में शामिल हुए राहुल गांधी ने देश में आरक्षण के साथ-साथ बेरोजगारी, चीन और सिखों को लेकर विवाद पैदा करने वाला बयान दिए थे. वाशिंगटन डीसी में जॉर्जटाउन यूनिवर्सिटी में छात्रों और शिक्षकों से बातचीत करते समय उन्होंने कहा था कि भारत में कौशल की कमी नहीं है बल्कि कुशल लोगों का सम्मान नहीं है.
आरक्षण पर क्या बोले थे राहुल?
कांग्रेस नेता से जब आरक्षण को लेकर सवाल किया था गया था उन्होंने कहा था कि कांग्रेस इसे तभी खत्म करने के बारे में सोचेगी जब देश में सभी को समान अवसर मिलने लगेंगे, लेकिन फिलहाल भारत में ऐसी स्थिति नहीं है. इसके अलावा उन्होंने आरक्षण के मुद्दे पर भारत की मौजूदा सरकार पर हमला बोला था और नीतियों की कड़ी आलोचना भी की थी.
राहुल की टिप्पणियों का बीजेपी ने किया था विरोध
यूएस में राहुल गांधी के बयानों का बीजेपी ने जमकर विरोध भी किया था. बीजेपी नेताओं ने कहा था कि राहुल अब केवल एक नेता और सांसद नहीं है, वो नेता प्रतिपक्ष हैं ऐसे में उन्हें अपनी गरिमा का ख्याल रखना चाहिए. इस तरह के बयान देने से विदेशों में भारत की छवि पर बुरा असर पड़ सकता है.

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