प्रेगनेंसी से पहले स्मोकिंग या शराब की आदत बन सकती है इस बीमारी का कारण
महिलाओं में प्रेगनेंसी के बाद कई तरह की समस्याएं होती हैं. हार्मोन में बदलाव के साथ शरीर में कुछ परेशानियां भी हो सकती हैं. गर्भावस्था के दौरान मिसकैरेज का खतरा भी बना रहता है. डॉक्टर बताते हैं कि महिलाओं में 20 वें सप्ताह से पहले मिसकैरेज का रिस्क रहता है. जो महिलाएं धूम्रपान करती हैं या शराब पीती हैं उनको काफी रिस्क रहता है. हालाँकि सभी गर्भपात को रोका नहीं जा सकता है, फिर भी जोखिम को कम करने के लिए कुछ कदम उठाए जा सकते हैं. आइए इस बारे में डॉक्टर से जानते हैं.
सीके बिड़ला अस्पताल में प्रसूति एवं स्त्री रोग विभाग की निदेशक डॉ. सीमा सहगल बताती हैं कि हार्मोनल असंतुलन, गर्भाशय संबंधी असामान्यताएं,थायरॉयड समस्याएं या डायबिटीज जैसी कुछ स्थितियां गर्भपात का कारण बन सकती हैं. ऐसे में इन सभी चीजों को कंट्रोल करने की जरूरत है. महिलाओं को सलाह है कि वह धूम्रपान और शराब का सेवन न करें. अगर प्रेगनेंसी प्लान कर रही हैं तो तत्काल इनका सेवन बंद कर दें. ऐसा न करने से मां और बच्चे दोनों की सेहत बिगड़ सकती है.
बन सकता है इस बीमारी का कारण
डॉ सीमा बताती हैं कि गर्भधारण से कम से कम तीन महीने पहले दोनों से बचना चाहिए धूम्रपान से भ्रूण को ऑक्सीजन की आपूर्ति कम हो सकती है, जबकि शराब से भ्रूण में अल्कोहल सिंड्रोम और अन्य विकास संबंधी समस्याएं हो सकती हैं. गर्भधारण करने का प्रयास करने से पहले इन आदतों को छोड़ने से गर्भावस्था के परिणामों में काफी सुधार हो सकता है. इसके साथ ही कई दूसरी चीजों पर भी ध्यान देने की जरूरत है.
पौष्टिक आहार पर ध्यान दें
गर्भावस्था को स्वस्थ बनाए रखने में आहार महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है. विटामिन, खनिज और आवश्यक पोषक तत्वों से भरपूर संतुलित आहार का सेवन करने से बच्चे का विकास अच्छा होता है. महिलाओं को अपनी डाइट में प्रोटीन, आयरन और कैल्शियम जरूर लें. इससे : बच्चे की हड्डियों और दांतों के विकास होगा. आयरन से मां और बच्चे में खून की कमी नहीं होगी.
स्वस्थ और सही खाएं
अपने भोजन में विभिन्न प्रकार के फल, सब्जियां, साबुत अनाज, लीन प्रोटीन को शामिल करें. ऐसे खाद्य पदार्थों से बचें जिनमें चीनी, फैट और एडिटिव्स की मात्रा अधिक हो छोटे-छोटे, बार-बार भोजन करने से भी मतली और उल्टी को नियंत्रित करने में मदद मिल सकती है.