बजट में गरीबों के लिए बड़ा ऐलान कर सकती हैं निर्मला सीतारमण, 3 करोड़ लोगों का पूरा होगा घर का सपना

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण 23 जुलाई 2024 को वित्त वर्ष 2024-25 का पूर्ण बजट पेश करने जा रही हैं. इस बार बजट में सरकार का फोकस मिडिल क्लास और गरीब पर हो सकता है. देश में अलग-अलग हलकों से जहां मिडिल क्लास को टैक्स में राहत देने की बात उठ रही हैं, वहीं सरकार गरीबों के अपलिफ्टमेंट पर भी ध्यान दे रही है. ऐसे में इस बार बजट में सरकार 3 करोड़ लोगों के घर के सपने को पूरा करने के लिए बड़ा ऐलान कर सकती है.
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने फरवरी में जब अंतरिम बजट पेश किया था, तब भी उन्होंने प्रधानमंत्री आवास योजना का दायरा बढ़ाने की बात कही थी. वहीं मिडिल क्लास के लिए एक नई हाउसिंग स्कीम लाने का भी आश्वासन दिया था. अब बजट में इस पर ठोस ऐलान होने की पूरी संभावना है.
प्रधानमंत्री आवास योजना के लिए जारी होगा फंड
सरकार बजट में प्रधानमंत्री आवास योजना-ग्रामीण के लिए और फंड जारी कर सकती है. ऐसे में नया फंड रिलीज होने से मार्च 2025 तक ग्रामीण इलाकों में 31.4 लाख घरों के निर्माण का लक्ष्य पूरा किया जा सकेगा. प्रधानमंत्री आवास योजना मोदी सरकार की एक फ्लैगशिप स्कीम रही है. ये योजना सरकार के ‘हाउसिंग फॉर ऑल’ लक्ष्य को पूरा करने के लिए बनाई गई है.
प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत ग्रामीण इलाकों में मार्च 2024 तक 2.95 करोड़ घर बनाए जाने का लक्ष्य रखा गया था. नवंबर 2016 में जब इस योजना को चालू किया गया था, तब से अब तक देश में 2.63 करोड़ घर बनाए जाने का काम पूरा हो चुका है. इस स्कीम को मोदी सरकार ने पिछली सरकार की इंदिरा आवास योजना में आमूल-चूल बदलाव करके दोबारा लॉन्च किया था.
प्रधानमंत्री आवास योजना-ग्रामीण के तहत अधिकतर राज्यों में केंद्र सरकार मकान की लागत का 60 प्रतिशत वहन करती है. बाकी खर्च राज्य सरकारें उठाती हैं. इतना ही नहीं पूर्वोत्तर राज्यों में ये लागत केंद्र के हिस्से में 90 प्रतिशत तक चली जाती है. जबकि केंद्र शासित प्रदेशों में 100 प्रतिशत खर्च केंद्र सरकार ही उठाती है.
बनाए जाने हैं 3 करोड़ नए घर भी
सरकार ने प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत 2.95 करोड़ घर बनाने का लक्ष्य मार्च 2024 तक रखा था, लेकिन अंतरिम बजट में सरकार ने इसका दायरा बढ़ाते हुए ग्रामीण इलाकों में 2 करोड़ एक्स्ट्रा घर बनाने का लक्ष्य रखा है. इसे अगले 5 साल में पूरा किया जाना है. वहीं केंद्र की सत्ता में वापसी करते ही मोदी 3.0 ने पहली कैबिनेट मीटिंग में शहरी इलाकों में एक करोड़ घर बनाने के प्रस्ताव को भी मंजूरी दे दी है.

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