मणिपुर हिंसा की नई घटना पर CM की केंद्र से अपील, क्षेत्रीय अखंडता की रक्षा के लिए उठाए कदम
मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह ने रविवार को राज्य में हिंसा की नई घटनाओं को लेकर चिंता जाहिर की है. उन्होंने केंद्र से मणिपुर की क्षेत्रीय अखंडता की रक्षा के लिए कदम उठाने की अपील की. एक अधिकारी ने यह जानकारी दी. उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री ने केंद्र सरकार से कुकी समूहों द्वारा उठाई गई अलग प्रशासन की मांग के आगे न झुकने का भी आग्रह किया.
मणिपुर के मुख्यमंत्री ने कई विधायकों और विधानसभा अध्यक्ष के साथ राजभवन में राज्यपाल से मुलाकात की और एक बैठक की. उन्होंने ये अपील राज्यपाल लक्ष्मण प्रसाद आचार्य को सौंपे ज्ञापन में की है. अधिकारी के अनुसार, आचार्य को सौंपे ज्ञापन में सीएम ने कहा कि केंद्र को मणिपुर में शांति सुनिश्चित करनी चाहिए और निर्वाचित राज्य सरकार को पर्याप्त शक्तियां देनी चाहिए.
एसओओ समझौते को रद्द करने का भी आह्वान
वहीं, इस दौरान सीएम बीरेन सिंह ने परिचालन निलंबन (एसओओ) समझौते को रद्द करने का भी आह्वान किया. एसओओ समझौते पर केंद्र, मणिपुर सरकार और कुकी उग्रवादी संगठनों के दो समूहों- कुकी नेशनल ऑर्गेनाइजेशन (केएनओ) और यूनाइटेड पीपुल्स फ्रंट (यूपीएफ) द्वारा हस्ताक्षर किए गए थे. इस समझौते पर 2008 में हस्ताक्षर किए गये थे और उसके बाद समय-समय पर इसे बढ़ाया जाता रहा है.
राजभवन ने एक बयान में कहा कि सीएम बीरेन सिंह ने अपने कैबिनेट सहयोगियों के साथ राज्यपाल से मुलाकात की और एक ज्ञापन सौंपा. हालांकि, न तो राजभवन और न ही मुख्यमंत्री ने ज्ञापन की विषय-वस्तु साझा की. बयान में कहा गया है कि लगभग एक घंटे तक चली बैठक के दौरान सिंह के साथ 20 से अधिक विधायकों के अलावा विधानसभा अध्यक्ष थोकचोम सत्यब्रत सिंह भी थे.
CM ने राज्यपाल को स्थिति से अवगत कराया
यह बैठक मणिपुर में हिंसा की नई घटनाओं के बीच हुई, जिसमें शनिवार को जिरीबाम जिले में कम से कम पांच लोग मारे गए थे. मुख्यमंत्री ने शनिवार रात को भी राज्यपाल से मुलाकात की थी और उन्हें स्थिति से अवगत कराया था. पुलिस के अनुसार उग्रवादियों ने एक व्यक्ति के घर में घुसकर उसे सोते समय गोली मार दी. हत्या के बाद, दोनों समुदायों के सदस्यों के बीच भारी गोलीबारी हुई, जिसमें चार हथियारबंद लोगों की मौत हो गई.
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देश के पूर्वर्ती राज्य मणिपुर में पिछले साल मई में हिंसा की शुरूआत हुई थी. राज्य के दो सबसे आवादी वाले समुदाय मैतेई और कुकी एक दूसरे खिलाफ खड़े हो गए. वहीं, पिछले साल मई से अब तक मैतेई और कुकी के बीच संघर्ष में 200 से अधिक लोग मारे जा चुके हैं. वहीं, दोनों समुदाय के बीच हिंसा में अब तक हजारों लोग बेघर हो गए हैं.