महाराष्ट्र: कोल्हापुर जेल में बंद मुंबई बम धमाके के आरोपी मोहम्मद अली खान की पीट-पीटकर हत्या
महाराष्ट्र के कोल्हापुर सेंट्रल जेल के कैदियों ने बड़ी वारदात को अंजाम दिया है. जेल में बंद मकोका और हत्या के पांच आरोपियों ने मुंबई में 1992-93 में हुए बम धमाके के आरोपी मोहम्मद अली खान की पीट-पीटकर हत्या कर दी है. बताया जा रहा है कि इस घटना को उस समय अंजाम दिया गया जब वो नहाने के लिए जेल में बने पानी टंकी के पास नहाने पहुंचा था. टंकी पर मौजूद पांच कैदियों ने झगड़े के दौरान कथित तौर पर मैनहोल के ढक्कन से खान के सिर पर बार-बार वार किया, जिससे उसकी मौत हो गई.
जेल DIG स्वाति साठे ने टीवी 9 भारतवर्ष को बताया की घटना सुबह साढ़े 7 से 8 बजे के दरमियान की है. मोहम्मद अली खान जो की सर्कल नंबर 2 के बैरक नंबर 4 में बंद था. उसी बैरक में 5 अन्य मकोका और हत्या के आरोपों के तहत 5 अन्य कैदी भी बंद थे. इन 5 कैदियों में प्रतीक उर्फ पिल्या सुरेश पाटिल, दीपक नेताजी खोत, संदीप शंकर चव्हाण, ऋतुराज विनायक इनामदार और सौरभ विकास सिद्ध शामिल थे.
बैरक के अंदर हुई थी कहा-सुनी
इन्हीं पांच कैदियों में से किसी एक कैदी से मोहम्मद का बैरक के अंदर कहा सुनी हुई थी. उस वक्त तो बात सुलझ गई, लेकिन सुबह थोड़ी देर बाद ही मोहम्मद अली खान बैरक से निकलकर जेल में बने हौद के पास नहाने के लिए गया. इसी समय पांचों अन्य कैदी भी नहाने के लिए हौद पर गए और दोबारा कहा सुनी शुरू हुई. पांचों आरोपियों ने उसे पीटना शुरू कर दिया और पास में ही मौजूद ड्रेनेज लाइन के ढक्कन को निकालकर मोहम्मद के सिर पर मार दिया. जिससे वो गंभीर रूप से जख्मी हो गया और स्पॉट पर ही गिर गया और जब तक उसे अस्पताल ले जाया जाता तब तक उसकी मौत हो चुकी थी.
पहले से विवाद था, इसकी कोई जानकारी नहीं
अभी तक की जांच में पांच आरोपियों और खान के बीच पहले से कोई विवाद होने की कोई जानकारी सामने नहीं आई है. घटना के बाद जूना राजवाड़ा पुलिस थाने में पांच लोगों के खिलाफ हत्या की प्राथमिकी दर्ज की गई है और आगे की जांच भी जारी है. घटना के बाद से बाद जेल प्रशासन की ओर से कैदियों की सुरक्षा के लिए कई कदम उठाए जा रहे हैं.
पिछले साल भी हुई थी कैदी की हत्या
कोल्हापुर सेंट्रल जेल में इस तरह की यह पहली घटना नहीं है. इससे पहले फरवरी 2023 में सतपाल सिंह नामक कैदी की दूसरी कैदी ने हत्या कर दी थी. इसके अलावा पिछले कुछ महीनों में जेल से बड़ी संख्या में मोबाइल और नशीला पदार्थ बरामद किए जाने की घटना सामने आ चुकी हैं.