सांसद इंजीनियर राशिद को कोर्ट से राहत, 15 अक्टूबर तक बढ़ी अंतरिम जमानत

जम्मू-कश्मीर की बारामूला लोकसभा सीट से सांसद इंजीनियर राशिद की अंतरिम जमानत 15 अक्टूबर तक बढ़ा दी गई है. राशिद को ये राहत दिल्ली की पटियाला हाउस स्पेशल कोर्ट से मिली है. इससे पहले अंतरिम जमानत की अवधि 12 अक्टूबर तक के लिए बढ़ाई गई थी. उन्हें 2 अक्टूबर तक अंतरिम जमानत दी गई थी. उन्हें ये जमानत जम्मू-कश्मीर में हुए विधानसभा चुनाव में प्रचार करने के लिए दी गई थी.
राशिद को टेरर फंडिंग के केस में 10 सितंबर को दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने अंतरिम जमानत दी थी. उन्हें 3 अक्टूबर को समर्पण करना था. जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव से कुछ दिन पहले वो जेल से बाहर आए थे. वो चुनाव प्रचार में भी शामिल हुए. तिहाड़ जेल में बंद सांसद ने चुनाव प्रचार के लिए अंतरिम जमानत की मांग की थी. उन्होंने दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट का रुख किया था.
शर्तों के साथ मिली थी जमानत
कोर्ट ने इंजीनियर राशिद को दो लाख रुपए के निजी मुचलके और इतनी ही राशि की जमानत बांड भरने पर अंतरिम जमानत दे दी थी. इसके साथ ही कोर्ट ने उन पर कुछ शर्ते भी लगाई थीं. जिनमें गवाहों या जांच को प्रभावित न करने का सख्त निर्देश दिया गया था. जिसके बाद वो जेल से बाहर आए थे. हालांकि उनकी जमानत को लेकर कई दलों ने सवाल खड़े किए थे. इससे पहले जब कोर्ट ने सांसद के तौर पर शपथ लेने के लिए राशिद को अंतरिम जमानत दी थी.
राशिद के भाई ने लड़ा विधानसभा चुनाव
इंजीनियर राशिद के भाई खुर्शीद अहमद शेख विधानसभा चुनाव में किस्मत आजमाई जिसमें उन्हें कामयाबी भी मिली. जम्मू-कश्मीर की लंगेट विधानसभा सीट पर इंजीनियर राशिद के भाई बतौर निर्दलीय प्रत्याशी जीत दर्ज की है. चुनाव में उन्हें कुल 25 हजार 984 वोट मिले. उन्होंने 1602 मतों के अंतर से चुनाव में जीत हासिल की.
राशिद ने उमर अब्दुल्ला को हराया था
रशीद इंजीनियर का असली नाम शेख अब्दुल रशीद है. 2024 के लोकसभा चुनाव में उन्होंने बारामूला में सूबे के पूर्व मुख्यमंत्री और नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता उमर अब्दुल्ला को शिकस्त दी थी. राशिद ने 2008 और 2014 में निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में चुनाव जीता. लंगेट विधानसभा क्षेत्र से वो दो बार विधायक रह चुके हैं.
टेरर फंडिंग मामले में हुई थी गिरफ्तारी
2017 के टेरर फंडिंग मामले में गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम के तहत राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) द्वारा गिरफ्तार किया गया था. 2019 से राशिद दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद थे. कश्मीरी व्यवसायी जहूर वटाली की जांच के दौरान उनका नाम दौरान सामने आया था. जहूर वटाली को एनआईए ने कश्मीर घाटी में आतंकवादी समूहों और अलगाववादियों को फंडिंग करने के आरोप में गिरफ्तार किया था.

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