क्या अडानी को लगातार चुनौती दे रहे हैं जिंदल? हासिल किया ये बड़ा ऑर्डर
कार्बन उत्सर्जन को कम करने के लिए देश में अब ग्रीन एनर्जी के विकल्पों पर खूब जोर दिया जा रहा है. बात अगर सोलर और विंड एनर्जी सेक्टर की करें, तो अभी इस सेगमेंट में अडानी ग्रुप का लगभग वर्चस्व बना हुआ है, लेकिन अब लग रहा है कि जिंदल ग्रुप इसे आने वाले समय में तगड़ी चुनौती दे सकता है. हाल में कंपनी ने महाराष्ट्र से एक बड़ा ऑर्डर हासिल किया है.
जेएसडब्ल्यू ग्रुप की एनर्जी बिजनेस कंपनी ने मंगलवार को बताया कि जेएसडब्ल्यू एनर्जी की ही ब्रांच जेएसडब्ल्यू नियो एनर्जी ने महाराष्ट्र राज्य विद्युत वितरण कंपनी (एमएसईडीसीएल) से एक ग्रीन एनर्जी प्रोजेक्ट हासिल किया है. ये एक विंड और सोलर एनर्जी का मिक्स प्रोजेक्ट होगा.
पैदा होगी 200 मेगावाट बिजली
अगर बात इस प्रोजेक्ट की करें, तो जेएसडब्ल्यू एनर्जी को मिले प्रोजेक्ट से 200 मेगावाट बिजली पैदा की जाएगी. कंपनी की ब्रांच जेएसडब्ल्यू नियो एनर्जी ने ये ऑर्डर कंपटीटिव टैरिफ बिड्स के आधार पर हासिल किया है. कंपनी के बयान में कहा है कि इस ‘लेटर ऑफ अवार्ड’ के मिलने के बाद उसकी कुल लॉक-इन उत्पादन क्षमता बढ़कर 17.2 गीगावाट हो गई है. इसमें 2.9 गीगावॉट की कुल लॉक-इन हाइब्रिड कैपेसिटी (एफडीआरई सहित) शामिल है. जेएसडब्ल्यू एनर्जी ने वित्त वर्ष 2024-25 में अपनी स्टैब्लिश्ड उत्पादन क्षमता 10 गीगावाट करने का लक्ष्य रखा है जो अभी 7.5 गीगावाट है.
लंबी अवधि में जेएसडब्ल्यू एनर्जी ने 2030 तक 20 गीगावाट की उत्पादन क्षमता और 40 गीगावाट आवर की स्टोरेज कैपेसिटी तैयार करने का लक्ष्य रखा है. कंपनी 2050 तक खुद को कार्बन न्यूट्रल बनाने का लक्ष्य लेकर चल रही है. इस ऑर्डर से कुछ दिन पहले ही जेएसडब्ल्यू एनर्जी ने एनटीपीसी से 300 मेगावाट का एक विंड-सोलर हाइब्रिड प्रोजेक्ट हासिल किया था.
वहीं जेएसडब्ल्यू एनर्जी की स्टेप डाउन यूनिट जेएसडब्ल्यू रीन्यू एनर्जी ट्वेंटी लिमिटेड ने बेंगलोर इलेक्ट्रिसिटी सप्लाई कंपनी के साथ एक पावर परचेज एग्रीमेंट किया है. ये एग्रीमेंट कर्नाटक रीन्यूएबल एनर्जी डेवलपमेंट की ओर से हासिल हुए 300 मेगावाट के एक प्रोजेक्ट के लिए साइन किया गया है.
सीमेंट सेक्टर में भी है अडानी से मुकाबला
हाल में सीमेंट सेक्टर में भी अडानी और जिंदल ग्रुप के बीच मुकाबला देखने को मिला था. देश की दूसरी बड़ी सीमेंट कंपनी अडानी सीमेंट (एसीसी और अंबुजा) कई छोटी-छोटी सीमेंट कंपनियों का अधिग्रहण कर अपना विस्तार करने की कोशिश कर रही है. इसी में सी. के. बिड़ला ग्रुप की ओरिएंट सीमेंट लिमिटेड शामिल है. इस कंपनी को खरीदने के लिए आदित्य बिड़ला ग्रुप के साथ-साथ अडानी ग्रुप और जिंदल ग्रुप के बीच भी प्रतिस्पर्धा देखी गई. इससे पहले 2022 में भी तीनों ग्रुप एक दूसरे से होलसिम के इंडियन बिजनेस को खरीदने की प्रतिस्पर्धा कर रहे थे.