अमेरिका: चुनाव से पहले ट्रंप ने बदली अपनी चाल, किया भारतीय युवाओं को फायदा पहुंचाने वाला वादा
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप चुनावी माहौल में कुछ बदले-बदले से नजर आ रहे हैं. जिन मुद्दों पर पहले वो आक्रामक रुख रखते थे, अब ऐसे विषयों पर उनके तेवर हल्के दिखाई दे रहे हैं. एक ताजा इंटरव्यू में ट्रंप ने कहा है कि वे चाहते हैं जो विदेशी छात्र अमेरिका के कॉलेज से ग्रेजुएट कर रहे हैं उनको ऑटोमेटिक ग्रीन कार्ड मिले.
ट्रंप से ‘ऑल-इन’ नामक एक पॉडकास्ट में कंपनियों द्वारा बेहतर और प्रतिभाशाली लोगों को अमेरिका बुलाने के प्लान के बारे में पूछा गया था, जिसका जवाब देते हुए उन्होंने ये बात कही है. इस बयान के जरिए ग्रीन कार्ड यानी अमेरिका में आधिकारिक तौर पर रहने की इजाजत को लेकर ट्रंप ने अपना स्टैंड बदला है.
2024 राष्ट्रपति चुनाव प्रचार में ट्रंप ने प्रवासियों के अमेरिका में प्रवेश का विरोध किया है. उनका हाल ही में आया बयान उनके इस रुख से बिल्कुल उलट है. ट्रंप ने अवैध रूप से देश में रहने वाले प्रवासियों पर क्राइम करने, नौकरियां और सरकारी संसाधन चुराने का आरोप लगाया है और कहा है कि वे “हमारे देश के खून में जहर घोल रहे हैं.” उन्होंने चुनाव प्रचार के दौरान वादा किया है कि अगर वे चुने जाते हैं, तो वे अमेरिकी इतिहास का सबसे बड़ा निर्वासन अभियान चलाएंगे. बाहरी लोगों के खिलाफ इस अंदाज में कैंपेन करने वाले ट्रंप अचानक बदल गए.
ट्रंप के बदले बोल
गुरुवार को एक इंटरव्यू में बोलते हुए ट्रंप ने कहा कि मैं जो करना चाहता हूं और जो करुंगा, मैं चाहता हूं कि आप अमेरिका के कॉलेज से जैसे ही ग्रेजुएट हों, आपको डिग्री के साथ अमेरिका में रहने के लिए ग्रीन कार्ड भी मिलना चाहिए. उन्होंने बताया कि इसमें जूनियर कॉलेज भी शामिल किए जाएंगे, साथ ही कहा कि राष्ट्रपति बनने के पहले दिन से मैं इस पर काम करना शुरू करुंगा. यानी अगर ट्रंप चुनाव जीतते हैं तो अमेरिका में पढ़ने वाले छात्रों या भविष्य में वहां जाने वाले छात्रों के लिए ये फायदेमंद साबित हो सकता है. क्योंकि अमेरिका का ग्रीन कार्ड टेढ़ी खीर माना जाता है.
अमेरिका को प्रतिभाशाली लोगों की जरूरत
2017 में राष्ट्रपति पद संभालने के बाद ट्रंप ने ‘अमेरिकी खरीदें और अमेरिकी को काम पर रखें’ (Buy American and Hire American) के आदेश दिए थे. इस आदेश के बाद अमेरिका में काम के लिए अमेरिकी वर्कर्स को ही प्राथमिकता देना सुनिश्चित किया गया और व्यावसायिक वीज़ा सिर्फ हाई-पे और हाई-स्किल्ड जॉब के लिए ही दिए जाने के निर्देश दिए गए. लेकिन इस बार ट्रंप ने कहा है कि आपको कंपनियों के लिए बड़ी तादाद में वर्कर्स चाहिए होते हैं और वे लोग स्मार्ट होने चाहिए, देश को आगे बढ़ाने के लिए आपको प्रतिभाशाली लोगों की जरूरत है.
अमेरिका में भारतीय छात्र
अमेरिका में हर साल हजारों छात्र हायर एजुकेशन के लिए अमेरिका जाते हैं. 2023 के डेटा के मुताबिक करीब दो लाख भारतीय छात्र अमेरिका से ग्रेजुएट और पोस्ट ग्रेजुएट कर रहे हैं. अमेरिका में सबसे ज्यादा ग्रीन कार्ड लेने वाले नागरिकों में भारत दूसरे स्थान पर है. CRS के सर्वे के मुताबिक 2022 में करीब 65960 लोगों ने अमेरिका का ग्रीन कार्ड लिया है.