लगातार बूढ़ी हो रही है चीन की आबादी, बढ़ी जिनपिंग की परेशानी, कोरोना भी वजह
पिछले कुछ सालों में पूरी दुनिया में कोरोना की वजह से जिस तरह बने हैं, उसका असर लोगों की जिंदगी पर आज भी है. ताजा मामला चीन का है. कोरोना की वजह से चीन जनसंख्या पर काफी असर पड़ा है.
कोविड-19 संबंधी प्रतिबंधों को हटाए जाने के बावजूद मृत्यु दर बढ़ने और जन्म दर कम होने के कारण 2023 की अपेक्षा अभी भी चीन की जनसंख्या में करीब 20 लाख का अंतर आ रहा है, जो काफी काफी बड़ा है.
बता दें कि पिछले 2 सालों से चीन की जनसंख्या कम होने का सिलसिला लगातार जारी है, दूसरे साल भी चीन की आबादी में लगातार एक बड़ा अंतर देखने को मिला है. इस बारे में सांख्यिकी ब्यूरो से बात करने पर उन्होंने बताया कि देश की कुल जनसंख्या 1.4 अरब है. यह बढ़ने की जगह तेजी से कम हो रही है. जनसांख्यिकी विशेषज्ञों ने इस अंतराल के लिये कोविड-19 के प्रकोप के कारण मृतकों की संख्या में तेज बढ़ोतरी होने की आशंका जताई थी.
वहीं, दूसरी ओर चीन में जन्म दर में अचानक से गिरावट भी आ गई है, जो उसके लिए एक संकट भी पैदा कर सकती है. दरअसल, चीन में लंबे समय से आर्थिक और सामाजिक चुनौती बनी हुई है. चीन की औसत आबादी की लगातार उम्र बढ़ रही है और ज्यादातर आबादी बुजुर्ग हो चुकी है. इस वजह से चीन में श्रमिकों की संख्या में कमी आ रही है. अगर श्रमिक कम हुए तो इससे समय के साथ उसका आर्थिक विकास धीमा हो सकता है. इसके अलावा बड़ी संख्या में बुजुर्ग आबादी को सेवाएं प्रदान करने की देश की क्षमता के लिए चुनौती पैदा हो सकती है.