शादी में मिली आलमारी चारपाई और…, एक मंच पर पहुंची हिंदू मुस्लिम ईसाई धर्म की दुल्हनें, कैसे हुआ विवाह?
अखिल भारतीय मुस्लिम केंद्र की तमिलनाडु राज्य समिति ने गुरुवार को कोयंबटूर में हिंदू, ईसाई और मुस्लिम समुदायों के 23 जोड़ों के सामूहिक विवाह का आयोजन किया. यह कार्यक्रम इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग (IUML) की 75वीं वर्षगांठ के अवसर पर आयोजित किया गया था, जो इसकी मूल संस्था है. पार्टी ने सांप्रदायिक सद्भाव को बढ़ावा देने के लिए राज्य भर में 75 जोड़ों की शादी कराने की योजना बनाई है. अब तक, चेन्नई और तिरुचि में क्रमशः 17 और 25 शादियां आयोजित की गईं.
इस सार्वजनिक समारोह के दौरान 6 हिंदू जोड़ों, 3 ईसाई जोड़ों और 14 मुस्लिम जोड़ों की शादी कराई गई. इस शादी का आयोजन आईयूएमएल अध्यक्ष और कुनियामुथुर क्षेत्र के सांसद केएम खादर मोहिदीन ने कराई. इस अवसर पर तमिलनाडु वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष अब्दुल रहमान भी मौजूद थे. सभी लड़कियों के माता-पिता इस समारोह में उपस्थित थे. यह शादी दुल्हनों के संबंधित धार्मिक रीति-रिवाजों के अनुसार संपन्न कराई गई.
प्रत्येक जोड़े को 10 ग्राम सोना, एक बिस्तर और गद्दे, अलमारी, स्टील के बर्तन और 2 लाख रुपये का किराने का सामान सहित घरेलू सामान दिया गया. इसके साथ ही सभी जोड़ों को कुरान, बाइबिल और भगवद गीता की प्रतियां भी भेंट की गईं. जोड़े कोयंबटूर, इरोड, तिरुप्पुर, नीलगिरी, पुदुकोट्टई, चेन्नई, चेंगलपट्टू और धर्मपुरी जिलों से थे.
इस कार्यक्रम में लगभग 2,000 मेहमान शामिल हुए और उन्हें शानदार शाकाहारी और मांसाहारी दावत दी गई. आईयूएमएल के सूत्रों ने कहा कि इसके पदाधिकारियों ने प्रत्येक जिले से लाभार्थियों का चयन किया.मुस्लिम लीग के अखिल भारतीय अध्यक्ष और सांसद खादर मोइदीन ने बताया, ‘मुस्लिम लीग को पता चला कि कई परिवार अपने बच्चों की शादी नहीं कर पा रहे हैं. तो हमने तिरुचि और चेन्नई में दो ऐसे सामुदायिक विवाह आयोजित किए हैं, जिनमें क्रमश 25 और 17 जोड़े शादी के बंधन में बंधे.