NIA का PFI पर बड़ा एक्शन! 2 आरोपियों के खिलाफ दायर की चार्जशीट

राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने प्रतिबंधित संगठन की गैरकानूनी और राष्ट्र-विरोधी गतिविधियों से संबंधित पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) मामले में दो आरोपियों के खिलाफ सप्लीमेंट्री चार्जशीट दाखिल की. आरोपियों की पहचान मोहम्मद याकूब खान उर्फ ​​सुल्तान उर्फ ​​उस्मान और शाहिद रजा के रूप में की गई है, दोनों बिहार के पूर्वी चंपारण जिले के रहने वाले हैं. उन पर आईपीसी, आर्म्स एक्ट एवं यूए(पी)ए की विभिन्न धाराओं के तहत कई आरोप दर्ज किए गये हैं.

इस मामले में अब तक दो आरोप-पत्र सहित कुल 17 लोगों को गिरफ्तार किया गया है, जिसे शुरू में बिहार पुलिस ने 26 लोगों के खिलाफ दर्ज किया था. जुलाई 2022 में एनआईए द्वारा फिर से इस मामले में मामला दर्ज किया गया था.

एनआईए ने पहले इस मामले में 14 लोगों के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया था. इसमें प्रतिबंधित पीएफआई के कैडरों द्वारा विभिन्न धर्मों और समूहों के सदस्यों के बीच धार्मिक वैमनस्य पैदा करे का आरोप शामिल है. आरोप है कि यह संगठन भय और आतंक का माहौल पैदा करता है.

पीएफआई आरोपियों पर चार्जशीट दायर

मामले में अब तक की जांच से पता चला है कि मोहम्मद याकूब खान उर्फ ​​सुल्तान उर्फ ​​उस्मान पीएफआई स्वयंसेवकों और कैडरों के एक समूह का हिस्सा था. साथ ही अपंग करने और मारने के लिए चाकू, छड़, हेलिकॉप्टर, तलवार और आग्नेयास्त्रों का उपयोग भी किया था. उन्होंने पीएफआई कैडरों की भर्ती करने, उनके लिए प्रशिक्षण शिविर आयोजित करने और पीएफआई की गतिविधियों का महिमामंडन करने और इसकी विचारधारा की वकालत करने के लिए सोशल मीडिया का उपयोग करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी. एक विशेषज्ञ हथियार प्रशिक्षक, याकूब खान ने प्रतिबंधित संगठन के आक्रामक और भारत विरोधी हिंसक एजेंडे और गतिविधियों को आगे बढ़ाने के लिए कई प्रशिक्षण सत्र आयोजित किए थे.

आतंक फैलाने का लगाया आरोप

जनवरी 2023 के दौरान, जब ‘राम शिलाओं’ को पूर्वी चंपारण के मेहसी क्षेत्र से होते हुए अयोध्या ले जाया जा रहा था. मोहम्मद याकूब खान के विवादित पोस्ट के बाद सोशल मीडिया पर उनका जमकर विरोध हुआ और उन्हें ट्रोल किया गया. इसके बाद उसने बदला लेने और सांप्रदायिक नफरत फैलाने के लिए अपने सांप्रदायिक पोस्ट पर टिप्पणी करने वाले एक विशेष समुदाय के युवक पर हमला करने के लिए हथियारों और गोला-बारूद की व्यवस्था की थी.

इसके बाद याक़ूब को एनआईए ने गिरफ्तार कर लिया, जिससे आतंक पैदा करने और सांप्रदायिक सौहार्द बिगाड़ने की उसकी योजना विफल हो गई. एनआईए ने बाद में विभिन्न प्रतिबंधित आग्नेयास्त्र, गोला-बारूद, तलवारें और चाकू भी जब्त किए, जिन्हें याकूब ने पीएफआई के लिए गैरकानूनी और हिंसक कृत्यों और गतिविधियों को अंजाम देने के लिए आरोपी अपने सहयोगी शाहिद की मदद छिपाने का काम किया था.. इसके बाद शाहिद को भी हिरासत में ले लिया गया.

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