नीतीश कुमार को साबित करना होगा बहुमत, बिहार विधानसभा में 10 फरवरी को फ्लोर टेस्ट

बिहार में हुई सियासी उठापटक के बाद अब नीतीश कुमार को विधानसभा में बहुमत साबित करना होगा। इसके लिए 10 फरवरी की तारीख तय की गई है। संसदीय कार्य विभाग की ओर से मंगलवार को अधिसूचना भी जारी की गई है।

इसमें कहा गया है कि सरकार बजट सत्र के पहले दिन विधानमंडल के दोनों सदनों में राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ अर्लेकर के पारंपरिक संबोधन के बाद विश्वास मत हासिल करेगी।

बता दें, जदयू अध्यक्ष नीतीश कुमार ने नाटकीय उलटफेर के बाद रविवार को रिकॉर्ड नौवीं बार बिहार के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली थी। उन्होंने विपक्षी इंडिया गठबंधन ने नाता तोड़कर अपने पुराने सहयोगी भाजपा के साथ नई सरकार बनाई जिससे उन्होंने दो साल पहले नाता तोड़ा था।

28 जनवरी को ली थी शपथ

बता दें, नीतीश कुमार ने 25 जनवरी को एक बार फिर से मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी। उनके साथ सम्राट चौधरी व विजय सिन्हा ने डिप्टी सीएम पद की शपथ ली थी। इसके अलावा नीतीश की कैबिनेट में विजय कुमार चौधरी, डॉ. प्रेम कुमार, विजेंद्र प्रसाद यादव, सुमित कुमार सिंह, संतोष कुमार व श्रवण कुमार को कैबिनेट में शामिल किया गया था।

स्पीकर के खिलाफ लाया जा सकता है अविश्वास प्रस्ताव

राज्य में हुए सत्ता परिवर्तन के बाद भी राजद विधायक अवध बिहारी चौधरी ने अभी तक विधानसभा के अध्यक्ष का पद नहीं छोड़ा है। ऐसे में माना जा रहा है कि उनके खिलाफ एनडीए सरकार अविश्वास प्रस्ताव ला सकती है। इन सबके बीच बिहार विधानसभा में होने वाला बजट सत्र काफी हंगामेदार होने की उम्मीद है। ऐसी चर्चा है कि पिछली एनडीए सरकार की तरह विधानसभा अध्यक्ष का पद भाजपा अपने पास ही रखेगी। सूत्रों ने बताया कि इस पद के लिए भाजपा में जिन नामों पर विचार किया जा रहा है उनमें नंद किशोर यादव और अमरेंद्र प्रताप सिंह भी शामिल हैं। बता दें, अधिसूचना में कहा गया है कि आगामी सत्र में कुल 12 कार्य दिवस होंगे और राज्य का बजट 12 फरवरी को पेश किया जाएगा।

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