ना मंथली निवेश की झंझट, ना रिटर्न देखने की टेंशन, यहां लगाया पैसा तो सोना उगलेगा प्रॉफिट
शादियों के सीजन में लोग सिर्फ गहने और जेवरात बनवाने के लिए सोने का इस्तेमाल नहीं करते. बल्कि ये इंवेस्टमेंट का भी एक बड़ा जरिया है. कहा जाता है कि सोना बड़ा भाई होता है. किसी भी मुश्किल वक्त में साथ खड़ा रहता है. मोदी सरकार की डिजिटल इंडिया की मुहिम ने लोगों को डिजिटल तरीके से खरीद-बिक्री करने पर मजबूर कर दिया है. पहले स्टॉक मार्केट में पैसा लगाने के लिए लोग ब्रोकर की मदद लेते थे. आज घर बैठे एक ऐप के माध्यम से अपनी कमाई मार्केट में निवेश कर ले रहे हैं. यही हाल गोल्ड में निवेश करने का है. ऐसा नहीं है कि ऑफलाइन तरीका बंद हो गया है, लेकिन ऑनलाइन वह काम इंसान खुद से आसान तरीकों के साथ पूरा कर ले रहा है. जब बात डिजिटल गोल्ड की होती है तो यह सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड तक पहुंचती है. बता दें कि यह गोल्ड बॉन्ड अभी सरकार द्वारा जारी किया जाता है. इसकी खास बात यह है कि इसकी वैल्यू 24 कैरेट गोल्ड के बराबर होती है. आप अपने बजट के हिसाब से निवेश कर सकते हैं.
ऐसे मिलेगी छूट
हाल ही में भारत सरकार ने निवेशकों को गोल्ड इंवेस्टमेंट का खास मौका दिया है. इसमें एक तो आपको 62,000 रुपए प्रति 10 ग्राम से नीचे के भाव पर सोना मिलेगा, साथ ही अलग से ब्याज की कमाई भी होगी और जीएसटी भी बचेगा. भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने 18 दिसंबर से सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड सीरीज-3 की सेल शुरू किया था. इसका प्रति ग्राम रेट लिस्ट भी आ गया है. बता दें कि डिजिटल पेमेंट करने वालों को 50 रुपए प्रति ग्राम की छूट मिल रही है.
देश के अधिकतर सर्राफा बाजारों में हाल-फिलहाल में गोल्ड का भाव 64,000 रुपए तक जा चुका है, लेकिन गोल्ड बांड के लिए आरबीआई ने 6,199 रुपए प्रति ग्राम का रेट रखा है. इस लिहाज से सोने का ये 62,000 रुपए प्रति 10 ग्राम से नीचे का भाव है. वहीं अगर आप गोल्ड बांड को डिजिटल पेमेंट करके खरीदते हैं, तब आपको सोने का ये भाव 6,149 रुपए प्रति ग्राम पड़ेगा. आरबीआई जो गोल्ड बांड जारी करता है, वह असल में 24 कैरेट के सोने की वैल्यू के बराबर होता है. इसे आप पेपर गोल्ड भी कह सकते हैं.
ये होगी शर्त
सोने की जगह गोल्ड बांड में निवेश डबल मुनाफे का सौदा है. 8 साल की मैच्योरिटी वाले इन बांड्स पर आपको सोने के उस समय के रेट के हिसाब से रिटर्न मिलता है. इसके अलावा सरकार की ओर से हर साल का 2.5 प्रतिशत ब्याज भी आपको मिलता है. इतना ही नहीं गोल्ड बांड की खरीद पर आपको जीएसटी नहीं भरना पड़ता जबकि गोल्ड ज्वैलरी पर फ्लैट 3 प्रतिशत की दर से आपको जीएसटी का पेमेंट करना होता है.