सांप के मरने का बदला लेने आती है नागिन? सिर्फ फिल्मी कहानी या फिर है सच्चाई, जानिए हकीकत …
अपने देश में एक पुरानी धारणा है कि अगर सांप को मारा जाए, तो उसकी आंखों में मारने वाले की तस्वीर छप जाती है. बाद में उसका जोड़ा अपने पार्टनर की मौत का बदला ज़रूर लेता है. फिल्मों ने इस धारणा को और मजबूत किया. यही वजह है कि आज भी सांप को मारने के बाद उसका सिर पूरी तरह कुचल दिया जाता है.नाग और नागिन के जोड़े से जुड़ी हुई तमाम कहानियां कही जाती रही हैं, जिनमें से एक ये भी है कि नागिन अपने नाग की मौत का बदला लेती है. यही वजह है कि सांप को मारे जाने के बाद वहां कुछ दिनों के अंदर कोई न कोई सांप ज़रूर दिखता है.
आखिर ये सांप एक नाग के मरने के बाद क्यों आते हैं? क्या उन्हें मारने वाले की तस्वीर दिख जाती है? दरअसल इसके पीछे एक वैज्ञानिक कारण भी बताया जाता है, जो सांपों की संरचना से जुड़ा हुआ है.सांपों के जेनाइटल ऑर्गन के पास मौजूद मस्क ग्लैंड उन्हें मारने के दौरान कई बार फट जाती है. इसे कस्तूरी ग्रंथि भी कहा जाता है क्योंकि इससे एक खास किस्म की गंध निकलती रहती है. इस ग्रंथि के फटने के बाद जो महक हवा में मौजूद होती है, वो अन्य सांपों को आकर्षित करती है.
सांप के मरने के बाद अक्सर मादा सांप नज़र आती हैं क्योंकि इस ग्रंथि से निकलने वाली महक का इस्तेमाल सांप, मादा सांप को आकर्षित करने के लिए करते हैं. सीमित मात्रा में निकलने वाले इस रसायन की गंध सूंघकर ही मादा सांप उस जगह के आसपास मंडराती हैं, जहां नर सांप मरा हो. कई बार दूसरे नर सांप भी इस खुशबू को सूंघकर मरे हुए सांप की दिशा में निकल पड़ते हैं. उनका यूं उस जगह पर पहुंचना ही ये भ्रम पैदा करता है कि वे सांप को नुकसान पहुंचाने वाले को मारने के लिए आए हैं. .विज्ञान कहता है कि सांपों का दिमाग दूसरे रैप्टाइल्स की तरह की छोटा होता है. ऐसे में उनके अंदर किसी चीज़ को ज्यादा वक्त तक याद रखने की क्षमता नहीं होती है. ऐसे में बदला लेने का सवाल ही नहीं उठता. उनके कान भी ज्यादा दूर की चीज़ें सुन नहीं पाते हैं. हां, उनकी सूंघने की क्षमता तेज़ होती है.