स्विगी को मिला अमिताभ का साथ, बच्चन फैमिली ने खरीदी कंपनी में हिस्सेदारी
सदी के महानायक और बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता अमिताभ बच्चन नेअब क्विक कॉमर्स के बिजनेस में एंट्री ले ली है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक अभिताभ बच्चन फैमिली ऑफिस ने स्विगी में हिस्सेदारी खरीदी है. यह डील उस समय हुई है जब स्विगी अपना आईपीओ लाने की तैयारी में है. जिस तरह से इस समय जोमैटो के शेयर में तेजी देखी जा रही है, ऐसे ही रिटर्न की उम्मीद इस कंपनी के शेयर से भी निवेशकों को है.
जोमैटो के बढ़ते प्रभाव को कम करने के लिए और अपना ऑपरेशनल एरिया बढ़ाने के लिए कंपनी अपना आईपीओ ला रही है. बता दें कि जौमैटो के शेयर के दाम अपने आईपीओ आने के बाद से अब तक दोगुना हो गया है. स्विगी कंपनी फूड डिलीवरी और क्विक डिलीवरी के सेगमेंट में सक्रिय है और इस सेगमेंट की एक मुख्य कंपनी है. इसके अलावा इस सेगमेंट में जोमैटो और जेप्टो भी हैं. हालांकि जेप्टो फूड डिलीवरी नहीं करती फिर भी इसकी कीमत 5 मिलियन डॉलर आंकी गई है.
जल्द ही आने वाला है स्विगी का आईपीओ
जल्द ही स्विगी अपना आईपीओ लानी वाली है, अप्रैल में ही कंपनी ने अपने शेयरहोल्डर से इसकी अनुमति ली थी. आईपीओ से कंपनी को 1.25 बिलियन डॉलर रकम मिलने का अनुमान है. उम्मीद है कि इसी महीने ये अपना आईपीओ ला सकती है
कभी फूड डिलीवरी में प्रतिद्वंद्वी रहे ज़ोमैटो और स्विगी अब ग्रॉसरी डिलीवरी मार्केट में सीधे प्रतिस्पर्धा कर रहे हैं. अपनी ग्रॉसरी सर्विस ब्लिंकिट के दमदार प्रदर्शन के साथ ज़ोमैटो का मार्केट कैपिटलाइजेशन 2 ट्रिलियन रुपये तक पहुंच गया है. जबकि बैरन कैपिटल के अनुसार, मार्च 2024 तक स्विगी का मूल्यांकन 15.1 बिलियन डॉलर है. स्विगी के ग्रॉसरी सर्विस सेगमेंट प्लेटफॅार्म को इंस्टामार्ट के नाम से जाना जाता है.
सबसे तेजी से बढ़ता सेक्टर है ई-कॉमर्स
डेलॉइट के अनुसार, भारत में यह सेक्टर ऑफलाइन सेक्टर की तुलना में 2.5 गुना तेजी से बढ़ रहा है और 2030 तक 325 बिलियन डॉलर हो जाएगा. इसके बावजूद,ऑफलाइन की बादशाहत बरकरार रहेगी, जिसकी वैल्यू 1,605 बिलियन अमेरिकी डॉलर आंकी गई है.
बैंक ऑफ अमेरिका की रिपोर्ट के अनुसार, क्विक कॉमर्स सेक्टर अगले पांच साल में 25 मिलियन भारतीयों तक पहुंच जाएगा. यही वजह है कि इस सेक्टर में बड़ी कंपनियां भी आना चाहती हैं. रिलायंस, फ्लिपकार्ट और अमेज़न भी अपना प्लेटफ़ॉर्म लॉन्च करने वाली हैं.