Agra: बच नहीं पाए नोटों की गड्डियों वाले थानेदार, तीन पुलिसकर्मी दोषी करार; एसीपी की जांच पूरी
आगरा में नोटों की गड्डियों के मामले में थानेदार सहित तीन पुलिसकर्मी दोषी करार दिए गए। मामले की जांच एसीपी ने की है। करीब ढाई महीने पहले वीडियो वायरल हुआ था। उत्तर प्रदेश के आगरा में करीब ढाई महीने पहले ‘मोटी चेन, मोटा पैसा, कोई दिखा दो अपने जैसा, छोरी चिल्लावे पैसा ही पैसा…।’ इसी गाने पर चलती कार के डैश बोर्ड पर रखीं 500-500 रुपये के नोटों की गड्डियों का वीडियो वायरल हुआ था। कार दरोगा की थी ।
एक थैला तत्कालीन थानाध्यक्ष शमसाबाद के कारखास ने एनसीआर में पहुंचाया था। मामले की जांच हुई। एसीपी फतेहाबाद से ट्रांसफर होकर एसीपी पिनाहट को दी गई थी। इसमें तत्कालीन थानाध्यक्ष सहित तीन पुलिसकर्मियों को दोषी पाया गया है। डीसीपी पूर्वी जोन ने 14 (1) की कार्रवाई भी शुरू करा दी है।
21 नवंबर 2023 को सोशल मीडिया पर एक रील वायरल हुई थी। कार के डैशबोर्ड पर 500-500 के नोट की गड्डियां रखी हुई थीं। तेज आवाज में म्यूजिक बज रहा था। वीडियो की जांच हुई थी। एसआई नितिन भड़ाना ने मौखिक शिकायत की थी कि गाड़ी उनकी है। गाड़ी लेकर थानाध्यक्ष का कारखास गया था। वह निजी व्यक्ति के साथ एनसीआर गया था। थानाध्यक्ष ने एक थैला अपने घर भेजा था।
इस घटनाक्रम के बाद दूसरे मामले में दरोगा नितिन भड़ाना को निलंबित कर दिया गया। मामले की जांच एसीपी फतेहाबाद आनंद कुमार पांडेय को दी गई। मगर, एसओ और एसीपी के बीच मधुर संबंध न होने से जांच की निष्पक्षता पर सवाल उठने लगे। इस पर जांच एसीपी पिनाहट अमरदीप सिंह को दी गई।
उन्होंने तत्कालीन थानानाध्यक्ष शमसाबाद अनिल शर्मा, सिपाही सुमित गुर्जर और दरोगा नितिन भड़ाना को दोषी पाया है। एसीपी की रिपोर्ट पर 14 (1) की विभागीय जांच एसीपी फतेहाबाद गिरीश कुमार को दी गई है। इसमें न्यूनतम वेतन से लेकर बर्खास्तगी तक की कार्रवाई होती है।
पुलिसकर्मियों को दोषी पाया
प्रकरण में प्रारंभिक जांच कराई थी। एसीपी पिनाहट ने पुलिसकर्मियों को दोषी पाया है। विभागीय नियमावली के तहत 14 (1) की कार्रवाई कराई जा रही है। – रवि कुमार, डीसीपी पूर्वी जोन
थैले में भेजे थे लाखों रुपये
पूर्व में दरोगा नितिन भड़ाना को निलंबित किया गया था, जबकि थानाध्यक्ष को अपराध शाखा भेजा गया था। सिपाही सिर्फ लाइन हाजिर हुआ था। बयान में दरोगा नितिन भड़ाना ने दावा किया था कि कार से भेजे गए थैले में लाखों की रकम थी। कारखास ने उन्हें बताया था। हालांकि जांच में यह साफ नहीं हुआ, थैले में आखिर क्या था।