केरल में कोरोना ने बढ़ाई टेंशन, मिले 115 नए मामले, यूपी में भी अलर्ट

केरल में मंगलवार को कोरोना वायरस के 115 नए मामले सामने आई है. इसी के साथ राज्य में कोरोना वायरस के एक्टिव मामलों की संख्या 1749 पहुंच गई है. कोरोना के सामने आ रहे मामलों पर केरल स्वास्थ्य विभाग ने कहा है कि चिंतित होने की कोई जरूरत नहीं है. केरल में 115 नए मामलों के साथ मंगलवार को देशभर में कुल 142 नए मामले सामने आए. कोरोना वायरस को लेकर उत्तर प्रदेश में भी अलर्ट जारी किया गया है.

केरल की स्वास्थ्य मंत्री वीना जॉर्ज ने एक बयान में कहा कि चिंता की कोई बात नहीं है क्योंकि राज्य कोरोना वायरस संक्रमण से निपटने के लिए अच्छी तरह से तैयार है. उन्होंने कहा कि नवंबर में भी कोरोना के मामलों में बढ़ोतरी देखने को मिली थी. इसके बाद वायरस की रोकथाम और उसके लिए उठाए जाने वाले उपायों की रूपरेखा तैयार करने के लिए मंत्री स्तर की बैठक भी हुईं.

केरल में कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों को कंट्रोल करने के लिए उठाए गए कदमों की जानकारी देते हुए स्वास्थ्य मंत्री ने कहा है कि लक्षण दिखने वाले लोगों की जांच करने और उनके सैंपल को जीनोम अनुक्रमण के लिए भेजने के निर्देश जारी किए गए हैं. इसके साथ-साथ राज्य में कोरोना टेस्टिंग की संख्या भी बढ़ा दी गई है और दवाओं का पर्याप्त भंडारण भी सुनिश्चित किया गया है.

वीना जॉर्ज ने कहा है कि राज्य में 13 से 16 दिसंबर तक आइसोलेशन वार्ड, ऑक्सीजन बेड, आईसीयू और वेंटिलेटर की उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए सरकारी और निजी अस्पतालों में एक ऑनलाइन मॉक ड्रिल भी की गई थी. इसके साथ-साथ कोविड की स्थिति और तैयारियों के आकलन के लिए मंगलवार को एक उच्च स्तरीय बैठक हुई.

यूपी में भी अलर्ट जारी

केरल में कोरोना वायरस के बढ़ते मामले और नए वैरिएंट को लेकर उत्तर प्रदेश में भी अलर्ट जारी किया गया है. योगी सरकार की ओर से मंगलवार को उत्तर प्रदेश में सभी जिला अस्पताल और मेडिकल कॉलेज में तैयारी पूरी करने का निर्देश दिया गया है. निर्देश में कहा गया है कि कोविड का कोई भी नया मरीज मिलने पर उसके सैंपल को जीनोम सीक्वेंसिंग के लिए भेजने का निर्देश दिया है.

राजस्थान में भी समीक्षा बैठक, जीनोम सीक्वेंसिंग पर जोर

केरल में कोरोना के बढ़ते मामले और इसके नए सब वैरिएट जेएन. 1 को लेकर राजस्थान सरकार भी सचेत हो गई है. राजस्थान सरकार ने कोविड पॉजिटिव पाए जाने वाले मरीजों के सैंपल की जीनोम सीक्वेंसिंग कराने का निर्देश दिया है. हॉस्पिटल में आने वाले आईएलआई और श्वसन रोगों से पीड़ित (ILI/SARI) रोगियों की सतत निगरानी और जरूरत पड़ने पर सैंपल लेने के निर्देश दिया गया है.

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