व्हीलचेयर देने में देरी… और यात्री की हो गई मौत, अब कंपनी पर लगा 30 लाख जुर्माना!

हवाई यात्री को व्हीलचेयर मुहैया कराने में देरी को लेकर टाटा ग्रुप (Tata Group) की एयरलाइंस कंपनी एयर इंडिया (Air India) को तगड़ा नुकसान हुआ है. एविएशन रेग्युलेटर डीजीसीए (DGCA) ने लेट-लतीफी के मामले में अब कंपनी पर भारी भरकम 30 लाख रुपये का जुर्माना ठोका है.

यह घटना बीते 12 फरवरी को मुंबई में हुई थी, जिसमें उस यात्री की मौत हो गई थी.

80 वर्षीय यात्री की हो गई थी मौत

डीजीसीए (DGCA) ने गुरुवार को एयर इंडिया पर 30 लाख रुपये का जुर्माना लगाया है. टाटा ग्रुप की एयरलाइन कंपनी के ऊपर ये फाइन 12 फरवरी को मुंबई आ रही एक फ्लाइट में यात्री को व्हीलचेयर उपलब्ध नहीं करा पाने के मामले में लगा है. फ्लाइट में एक 80 वर्षीय यात्री पत्नी के साथ सफर कर रहा था. मुंबई लैंड करने के दौरान यात्री ने क्रू से व्हीलचेयर मुहैया कराने के लिए अनुरोध किया, लेकिन जब काफी देर तक उसे ये नहीं मिली, तो फिर बुजुर्ग यात्री ने चलकर उतरने का फैसला किया. इसके बाद चलते में वो गिर गया और उसकी मौत हो गई.

Air India ने दी मामले पर सफाई

बुजुर्ग की पत्नी भी व्हीलचेयर पर थी और Air India ने कथित तौर पर व्हीलचेयर की भारी मांग के कारण उस यात्री को इंतजार करने के लिए कहा था. यात्री की मौत के बाद इस पूरे मामले की जांच डीसीसीए (DGCA) ने मामले की जांच की और इस संबंध में एयर इंडिया को कारण बताओ नोटिस भी जारी किया. इस नोटिस का जवाब टाटा की एयरलाइन कंपनी ने 20 फरवरी को दिया था, जिसमें एयर इंडिया की ओर से कहा गया था कि बुजुर्ग यात्री दूसरी व्हीलचेयर की प्रतीक्षा करने के बजाय अपनी पत्नी के साथ चलना चाहता था, जो व्हीलचेयर पर थी.

CAR का अनुपालन करने में नाकाम!

विमानन नियामक ने इस मामले में कहा है कि एयरलाइन कंपनी सीएआर (CAR) का अनुपालन करने में विफल रही है, क्योंकि एयर इंडिया ने अपनी फ्लाइट में यात्रा कर रहे बुजुर्ग यात्री को कोई व्हीलचेयर उपलब्ध नहीं कराई थी. इसके अलावा मामले में गलती करने वाले कर्मचारियों के खिलाफ एयरलाइन द्वारा की गई किसी भी कार्रवाई के बारे में नियामक को सूचित नहीं किया गया. DGCA का कहना है कि एयरलाइन भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति को रोकने के लिए की गई कोई भी सुधारात्मक कार्रवाई प्रस्तुत करने में भी विफल रही है.

दूसरी एयरलाइंस के लिए भी जारी की सलाह

डीजीसीए के मुताबिक, उपरोक्त सीएआर के प्रावधानों का उल्लंघन करने के लिए एयर इंडिया पर विमान नियम, 1937 के अनुसार 30 लाख रुपये का जुर्माना लगाया गया है. इसके साथ ही DGCA ने आगे कहा कि सभी एयरलाइनों को यह सुनिश्चित करने के लिए एक सलाह भी जारी की गई है कि उन यात्रियों के लिए पर्याप्त संख्या में व्हीलचेयर उपलब्ध रखी जाएं, जिन्हें अपनी यात्रा के दौरान विमान से चढ़ने या उतरने के दौरान किसी भी तरह की सहायता की आवश्यकता होती है.

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