आखिरी दांव से पहले फोटो ने उगला राज, सामने आई भारत में घुसपैठ से लेकर पुणे में पनाह तक की कहानी, बेपर्दा हुए मददगार

हांगकांग एयरपोर्ट पर हिरासत में लिए गए अंचिगनु मार्मा नामक शख्‍स को विस्‍तारा एयरलाइंस की फ्लाइट UK-102 से दिल्‍ली के इंदिरा गांधी अंतर्राष्‍ट्रीय एयरपोर्ट के लिए डिपोर्ट किया गया था. आईजीआई एयरपोर्ट पहुंचते ही अंचिगनु नामक इस शख्‍स को एयरलाइंस सिक्‍योरिटी ने इमीग्रेशन ब्‍यूरो के अधिकारियों के हवाले कर दिया. प्रारंभिक जांच में इमीग्रेशन अधिकारियों ने पाया कि आरोपी न केवल घुसपैठ कर भारत में दाखिल हुआ है, बल्कि उसने गलत तरीके से पासपोर्ट सहित दूसरे दस्‍तावेज हासिल किए है.

डीसीपी ऊषा रंगनानी के अनुसार, प्रारंभिक पूछताछ के बाद आरोपी अंचिगनु को आईजीआई एयरपोर्ट पुलिस के हवाले कर दिया गया. वहीं एयरपोर्ट पुलिस ने आईपीसी की धारा 420/468/471/34 के तहत एफआईआर दर्ज कर आरोपी अंचिगनु से नए सिरे से पूछताछ शुरू की. पूछताछ मे उसने बताया कि शुरूआत में उसने अपना नाम आंगचिंग मोग बताकर पुलिस को गुमराह करने की कोशिश की. लेकिन पुलिस ने जब उसके मोबाइल से मिली कुछ फोटो दिखाई, उसके बाद वह टूट गया और एक-एक कर सारे राज खोलता गया.

दरअसल, इसके मोबाइल से पुलिस को कुछ तस्‍वीरें और दस्‍तावेज मिले थे. इनमें इसका बांग्‍लादेश का जन्‍म प्रणामपत्र भी शामिल था. यह जन्‍म प्रणाम पत्र में गुइमारा यूनियन परिसद मतिरंगा से जारी किया गया था. इसके अलावा, इसके फोन से इसकी मां का बांग्‍लादेशी नेशनल आईकार्ड भी बरामद हुआ, जिसमें इसकी मां का नाम आमरा मार्मा दर्ज था. मोबाइल से मिले तमाम दस्‍तावजों के बाद यह साबित हो गया कि अंचिगनु बांग्‍लादेशी नागरिक है और अपने नापाक मकसद लेकर वह भारतीय सीमा ने दाखिल हुआ था.

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