लखनऊ में 3 सगे भाई मिलकर चला रहे थे गैंग… दिन में मजदूर-मिस्त्री बनकर करते थे रेकी, रात में चोरी

लखनऊ पुलिस ने छत्तीसगढ़ (Chattisgarh) से आए ऐसे गैंग को पकड़ा है, जो दिन में मजदूरी के नाम पर दुकानों की रेकी (Reiki) करता था, फिर रात में चोरी की घटनाओं को अंजाम दे रहा था. गिरोह के पांच सदस्यों को गिरफ्तार किया गया है, जो मजदूरी के नाम पर शहर में घूम-घूमकर दुकानों की रेकी करते थे. इसके बाद मौका लगते ही रात में चोरी की घटना को अंजाम देते थे.

पुलिस का कहना है कि ये लोग मजदूर और मिस्त्री बनकर काम करते थे. चोरी करने के लिए रात का समय चुनते थे. ये गैंग ज्यादातर दुकानों को निशाना बनाता था. इस गैंग में तीन सगे भाई हैं और अन्य दो रिश्तेदार शामिल हैं. ये सभी गैंग के तौर पर काम कर रहे थे. पुलिस को इनके पास से 315 बोर का तमंचा और जिंदा कारतूस मिला है, साथ ही दुकान के शटर को तोड़ने वाले औजार भी मिले हैं.

घटना को लेकर डीसीपी ने क्या बताया?

डीसीपी साउथ तेज स्वरूप सिंह ने बताया कि इस घटना को पुलिस ने चैलेंज के तौर पर लिया और सर्विलांस और थाने की टीम ने एक साथ मिलकर काम किया. पुलिस ने पांच आरोपियों को गिरफ्तार किया है, जिसमें तीन सगे भाई और दो रिश्तेदार हैं. इनमें सबसे कम उम्र का एक बाल अपचारी है. ये सभी छत्तीसगढ़ के रहने वाले हैं और यहां मजदूरी का काम करते हैं. इनके पास से चोरी किए गए रुपये बरामद हुए हैं. दो आरोपियों की क्रिमिनल हिस्ट्री भी है. लखनऊ के मढ़याव थाने में केस दर्ज है और जेल जा चुके हैं.

डीसीपी ने बताया कि जो सामान चोरी किया गया था, उसमें अधिकांश सामान बरामद कर लिया गया है. यह आरोपी पहले रेकी करते थे और फिर घटना को अंजाम देते थे. घटना को अंजाम देने के बाद ये लोग लखनऊ छोड़कर छत्तीसगढ़ नहीं जाते थे. यहीं रहते थे. फिर दूसरी जगह पर घूम-घूमकर रेकी करते थे, फिर उसे निशाना बनाते थे. इनके पास से तमंचा कहां से आया, इसकी पूछताछ की जा रही है. फिलहाल सभी को गिरफ्तार कर जेल भेजा जा रहा है.

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