बैंक अकाउंट खाली करने वाली 5 ऐप्स के नाम आए सामने, कर दें फोन से डिलीट

ऑनलाइन फ्रॉड को रोकने के लिए सरकार लगातार नए कदम उठा रही है। साइबर क्राइम की वजह से लोगों के बैंक अकाउंट से लाखों रुपए गायब हो चुके हैं। अब साइबर क्राइम पुलिस की तरफ से भी इस पर लोगों को जानकारी दी गई है। साथ ही पुलिस ने इसको लेकर पब्लिक एडवाइजरी इशू की है। इसमें ‘ऑनलाइन ट्रे़डिंग स्कैम’ को लेकर कुछ जानकारी दी गई है।

स्कैम की बात करें तो बहुत सारे स्कैम चल रहे हैं। पीड़ितों को स्कैमर्स व्हाट्सऐप और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर टारगेट कर रहे हैं। पीड़ितों के फोन पर एक विज्ञापन वाला मैसेज आता है। इसमें फ्री ट्रेडिंग टिप्स क्लास देने की बात कही जाती है। इन ग्रुप की मदद से स्कैमर्स पीड़ितों से कम्युनिकेट करते हैं और निवेश करने की अलग-अलग टिप्स देते हैं। यहां तक कि वह पीड़ितों को यह भी बताते हैं कि आपको स्टॉक कब बेचने चाहिए।

पीड़ितों का विश्वास हासिल करने के बाद वह उन्हें ऐप इंस्टॉल करने के लिए कहते हैं। लेकिन कोई ऐसी ऐप नहीं होती है, बल्कि वह इसकी मदद से लोगों का मोबाइल हैक कर लेते हैं। सबसे बड़ी बात है कि लोगों को इसके बारे में पता भी नहीं चल पाता है कि ये एक स्कैम है और उनकी कई पर्सनल जानकारी हासिल की जा रही है। पुलिस ने इसकी जानकारी देते हुए बताया, ‘पीड़ितों को INSECG, CHS-SES, SAAI, SEQUOIA और GOOMI नाम की ऐप इंस्टॉल करवाई जाती है। ये ऐप्स SEBI सिक्योरिटी बोर्ड के तहत रजिस्टर्ड नहीं है।’

पुलिस ने आगे बताया, ‘वह रजिस्टर्ड के लिए स्टॉक ट्रेडिंग करने लगते हैं। क्योंकि इस ऐप को इस तरीके से ही डिजाइन किया जाता है। डिजिटल वॉलेट में फेक मुनाफा दिखाया जाता है। बैंक अकाउंट में बाकि पैसे जमा कर दिए जाते हैं।’ पीड़ित जब मुनाफा निकालने का प्रयास करते हैं तो उन्हें कहा जाता है कि यह 50 लाख हो जाएगा तो ही संभव हो पाएगा। शक होने की स्थिति में वह कंपनी पॉलिसी का दावा करते हैं।’

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